2012, ഒക്‌ടോബർ 31, ബുധനാഴ്‌ച


चुटकुले

एक संवादाता ने एक बार बर्नार्ड शाँ से पूछा , “ आप किस बुक से सबसे अधिक लाभान्वित हुए हैं ?”
शाँ ने उत्तर दिया - "चेक बुक से "

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एक बाबाजी कुछ चेलो के साथ किसी नदी के किनारे नहा
रहे थे ।दूर, पानी पर निगाह पड़ी तो देखा कि एक बहूत सुंदर
काला कंबल बहा जा रहा है। एक मन-चला चेला,जो बड़ा अच्छा
तैराक था ,बाबाजी से बोला, "आप की आज्ञा हो तो वह कंबल
ले आऊँ । दरअसल वह कंबल नहीं था ,एक भालु था ।
चेले ने ज्यों ही कंबल समझकर उस पर हाथ रखा , भालू ने चेले को पकड़ लिया । चेला जान छुड़ाना चाहता था ,पर भालु उसे छोड़ता ही न था ।दोनों पानी में बहने लगे ।गुरू ने किनारे से पुकारा , "बच्चा ,कंबल को छोड़ दो , चला आ "
चेले ने जवाब दिया ,” महाराज , मैं तो कंबल को छोड़ता हुँ, मगर कंबल मुझे नहीं छोड़ता ।"

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